इस मैच को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचे थे. जिसमें दोनों क्लब के पदाधिकारी भी मौजूद रहे थे. वहीं बता दें कि मोहनबगान के समर्थकों ने ईस्ट बंगाल क्लब के अधिकारीयों के बारे में अपशब्द कहे थे. आईएसएल में ईस्ट बंगाल के खराब प्रदर्शन को लेकर भी तंज कसा गया था. इसे लेकर ईस्ट बंगाल के समर्थक गुस्से में आ गए थे. दोनों टीमों के समर्थक आपस में भीड़ गए थे.

बात इतनी बड़ी हो गई थी कि एक-दूसरे पर बोतलों की बौछारे करने लगे थे. इससे कुछ लोगों को चोटें आई थी. मौके पर तैनात पुलिसकर्मियों ने हालत को सम्भाला था और बात को शांत किया था. बता दें बीच मैच में हुए गंभीर को देखते हुए पुलिस ने तुरंत एक्शन लिया था. उसके बाद मामले को शांत कर उन्होंने दोनों पक्षों में समझौता भी कराया था. दर्शकों की भीड़ को देखते हुए स्थानीय पुलिस ने पहले से ही व्यवस्था की हुई थी जिसके चलते उन्हें ज्या नुकसान नहीं उठाना पड़ा था.

बता दें यह पहला मौका नहीं है जब कोलकाता में कोई मैच हुआ हो और यह हादसा हुआ हो. इससे पहले भी साल 1980 में ईडन गार्डन स्टेडियम में ईस्ट बंगाल और मोहनबगान के फुटबॉल मैच में यह हादसा हुआ है. दरअसल कलकत्ता फुटबॉल लीग के एक मैच के दौरान भी दोनों टीमों के समर्थक आपस में भीड़ गए थे. उसके बाद वहां भगदड़ मच गई थी. जिसमें कुचलकर 16 लोगों की मौत हो चुकी थी.