भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) के पूर्व अध्यक्ष नरिंदर बत्रा से जुड़े
दिल्ली और जम्मू के पांच परिसरों पर केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) छापा मारा.
सीबीआई अधिकारी ने बताया कि भ्रष्टाचार के एक कथित मामले में उनके खिलाफ प्राथमिकी
दर्ज करने के बाद तलाशी ली गई. उन्होंने कहा कि बत्रा के खिलाफ केंद्रीय जांच एजेंसी
को शिकायत मिली थी जिसके बाद उसने इस साल अप्रैल में प्रारंभिक जांच शुरू की गई,
जो प्रथम दृष्टया आरोप स्थापित करने की दिशा में पहला कदम है.
अधिकारियों ने बताया कि शिकायत में आरोप लगाया गया है कि,
हॉकी इंडिया के 35 लाख रुपये बत्रा के निजी फायदे के लिए इस्तेमाल किए गए.
नरिंदर बत्रा को भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) का अध्यक्ष पद छोड़ना पड़ा था,
जब 25 मई को दिल्ली हाई कोर्ट ने हॉकी इंडिया में ‘आजीवन सदस्य’ के पद को खत्म कर दिया था.
बत्रा ने 2017 में हॉकी इंडिया के आजीवन सदस्य के रूप में ही आईओए का चुनाव लड़ा
और जीता था. तीन अलग अलग पत्रों के जरिए बत्रा ने आधिकारिक रूप से आईओए,
आईओसी और एफआईएच में अपने पदों से इस्तीफा दिया. बत्रा ने एफआईएच के कार्यकारी बोर्ड को लिखा,
‘निजी कारणों से मैं एफआईएच के अध्यक्ष पद से इस्तीफा सौंपता हूं.’
बत्रा की आईओसी सदस्यता उनकी आईओए अध्यक्षता से जुड़ी थी
लेकिन एफआईएच से उनका इस्तीफा हैरानी भरा है क्योंकि उन्होंने मई में कहा था कि
वह अब विश्व हॉकी संस्था में अपने काम पर ध्यान लगाना चाहते हैं.
दिल्ली हाई कोर्ट ने खंडपीठ के समक्ष लंबित उनकी अपील पर स्टे देने से इनकार
कर दिया था जिसके कारण संभवत: बत्रा ने इस्तीफा देने का फैसला किया.